बुधवार, 29 जून 2011

knyadan?

            कन्यादान?
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कन्या यारों पैदा न करना,
करना तो उसकी शादी न करना,
शादी करना तो ,
दहेज़ लोभियों में न करना ,
,दहेज़ लोभियों में करना तो ,
डोली से अर्थी तक ,
अपना कर्तव्य समझ ,
निगाह उसके ससुराल वालों पे रखना 
अगर कन्या प्रताड़ित होया डराई  या धमकाई जाये ,
शेतानिय्त  या हेवानियत दिखाई जाये ?
मत छोड़ना ऐसे घर में ,जहाँ ,
उसकी प्रताड़ना या मौत के ,
तगड़े किये जा रहे हों इंतजाम ?
अगर कन्या प्रताड़ित हो ,उत्पीडन की शिकार हो ,
 या जला कर मर दी जाये,
या दहेज़ की बलि चढ़ा दी जाये ?
अपने गुस्से पे काबू रखना ,
काबू रखना, करना तो बस,
इतना करना ,
उन सारे नरपिशाचों को
सारे कुनबे सहित ,
अग्नि में आहूत करते रहना ?
जेसे को तेसा करने में कोई पाप नही !
  यह सांसारिक युद्ध है, कोई मजाक नही !
नही तो ये राक्षस फिर शादी करेंगे,करवाएंगे ,
मानवता,इंसानियत इनमें है ,नही?
फिर  किसी कन्या को द हे ज की बलि चढ़ाएंगे ?
कानून व्यस्था सब जानते?
रूपया पैसा खरीद रहा सब मानते?
गवाह सबूत,पुलिस डायरी  ,रिपोर्ट 
सब बदल दी जाएगी?
एकभी दहेज़ लोभी को,
फांसी न लगी हैं न लग पायेगी ?
कहते कानून अन्धा होता?
न्याय का एक सीधा साधा , फंदा होता ?
सेंटिग जमाई जाती है ,
न्याय प्रणाली कितनी जबर्दस्त है?
पेसे की बलि चढ़ाई जाती है .
सालों केस घसीटते   रहते ,
तारीख पे तारीख बढती रहती ,
घर बाले परेशान होते रिश्ते दार,
बिन मांगे सलाह  देते,लडकी गई ?
अब लकीर पीटने से क्या फायदा ,?
लडकी तो वापिस आने से रही?
कियु,उसकी, अपनी मट्टी पलित कराते हो?
आज कन्या भ्रूर्ण  हत्याएं  बढ़ रहीं,?
लोग मानवता ,इंसानियत बेच बेठे हैं?
भगवान् भी नर पिशाचों को,
जुर्म करने बालों को,
तुरंत की तुरंत सज़ा नही देता?
लम्बा,सालों  साल  इंतजार करता रहता है ?
कहते है उसकी लाठी में आबाज़ नही?
पड़ेगी कब?ये कोई हिसाब नही?

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